रविवार, 16 नवंबर 2025
शनिवार, 15 नवंबर 2025
RAS वतन मिश्रा एवं RPS देवेन्द्रप्रतापसिंह के संघर्ष अनुभव उन्हीं की जबानी.
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 15 नवंबर 2025.
राजस्थान की प्रतियोगी परीक्षाओं में चयनित RPS चयनित देवेंद्र प्रताप सिंह और RAS वतन मिश्रा ने
हर्ष कॉन्वेंट स्कूल में विद्यार्थियों को अपने अनुभवों को सुनाया।
दोनों ने अपनी संघर्षपूर्ण यात्राएँ, सफलता के सूत्र और प्रेरक विचार साझा कर विद्यार्थियों में नई उमंग, आत्मविश्वास और ऊँचे लक्ष्य साधने की शक्ति जगाई। इस अवसर पर कार्यक्रम में शिक्षाविद् मांगी लाल शर्मा, मोहम्मद अली कादरी, सुमित अग्रवाल, राकेश धानूका,राजेंद्र बाबू मिश्रा भी.उपस्थित थे।
इस अवसर पर स्कूल के प्राचार्य डॉ ए पी सिंह ने भी बच्चों को संबोधित करते हुए कहा—
“ऐसे प्रेरणादायी कार्यक्रम भविष्य में भी आयोजित किए जाते रहेंगे, ताकि विद्यार्थियों को निरंतर सही दिशा और मार्गदर्शन मिलता रहे।”
कार्यक्रम के समापन पर धन्यवाद ज्ञापन डॉ अनिल धानूका द्वारा प्रस्तुत किया गया, जिन्होंने सभी अतिथियों का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि यह अवसर बच्चों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाने वाला सिद्ध होगा। विद्यार्थियों जिया सिरोवा तथा मूमल ओझा ने मंच संचालन किया।०0०
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शुक्रवार, 14 नवंबर 2025
अचानक दिल ब्लॉक की शिकायतें बढी. सूरतगढ़ की आबोहवा रोगीली होने का बड़ा कारण .
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 14 नवंबर 2025.
खतरे में हो चुका है सूरततगढ़ शहर जहां आदमी को अचानक घबराहट होती है और चिकित्सालय जांच में मालुम पड़ता है कि हृदय की खून की नसें 98-99 परसेंट ब्लॉक है। शहर में या शहर के निवासी को बाहर अन्य शहर में अचानक इन हालातों की घटनाएं बहुत बढी है जिसे चिंता वाली हालत की संख्या माना जा सकता है। ऐसी घटनाएं होने पर
साधन सम्पन्न ही तुरंत चिकित्सालय तक पहुंचकर जांच करवा पाता है और स्थानीय स्तर पर या जयपुर जैसे बड़े शहर में स्टंट डलवा ईलाज आपरेशन करवा सकता है। आखिर क्या कारण है ऐसी घटनाएं बढने का जो अब हर व्यक्ति को सोचने को मजबूर कर रही है?
इसके साथ यह भी जान लेना चाहिए कि शहर में खांसी श्वांस रोग व मां बच्चों के रोग भी चिंताजनक हालत में फैल चुके हैं। खांसी और श्वांस रोग सर्द मौसम में अधिक होते हैं लेकिन दो तीन साल तक भी नौजवानों की भी खांसी न टूटे तो निश्चित है कि उक्त खांसी साधारण नहीं है। खांसी में गंभीरता है जिसकी डाक्टरी जांच जरूरी है और ऐसे रोगी से अन्य को बचना ही उचित होता है। अगर खांसते हुए से मिलना हो तो मास्क लगाकर मिलना ही उचित होता है। शहर में श्वांस रोग भी बहुत बढ गया है। श्वांस रोग पहले बुड्ढों को होता था लेकिन अब तो जवान भी घिरे हैं। * विभिन्न प्रकार के कैंसर रोगी भी सामान्य से अधिक हैं। कैंसर का ईलाज केवल बाहर ही होता है इसलिए इसके फैलाव का आसपास भी मालुम नहीं हो रहा। अन्य रोग भी बढे हैं तो फिर अधिक फैलाव का कारण क्या है?
* सूरतगढ़ की आबोहवा यानि जलवायु खराब होती हुई रोगीली हो चुकी है। आबोहवा खराब होने का बड़ा कारण है गंदगी जिसके प्रति लोग और संस्थाएं लापरवाह हैं जो ध्यान ही नहीं दे रहे कि शहर में हर प्रकार से साफ सफाई हर रोज हर स्थान पर आवश्यक है लेकिन सफाई की नहीं जाती। सड़कें नाले नालियां कचरे गंदगी से भरे हों और कालोनियों व मोहल्लों में अधूरे खंडहर मकानों खाली पड़े नोहरों में गंदगी से किटाणुओं के उत्पन्न पर सभी चुप और मृत हों तो नगरपालिका प्रशासन और सफाई कर्मचारियों के निकम्मेपन रुख से आबोहवा ही खराब होगी तथा इस स्तर पर रोगीली हो जाएगी जो सूरतगढ़ में हैं।
* लोगों और सामाजिक संस्थाओं से एक प्रश्न है कि ऐसी गंभीरता पर जागना चाहेंगे या सोते रहेंगे? यह प्रश्न राजनैतिक नेताओं नेतियों व राजनैतिक पार्टियों से नहीं है, क्योंकि स्थिति को ध्यान में रखते उत्तर मिलता है कि वे शहर के हर संकट के प्रति सो रहे हैं। अंत में यह भी सोचना चाहिए कि पेयजल कितना स्वच्छ है या कितना अशुद्ध है? पेट की हर बीमारी से जुड़ा है यह कारण।०0०
गुरुवार, 13 नवंबर 2025
सूरतगढ़:सबसे बड़े घोटाले. प्रशासन व बड़े लोगों को सब मालुम.
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 13 नवंबर 2025.
सूरतगढ़ नगरपालिका क्षेत्र में बनी एक भी प्राईवेट आवासीय कालोनी नगरपालिका शासन के सुपुर्द नहीं है। सन् 2000 से अब 2025 तक बनी कालोनियां जिनमें 2005 में बनी बसंत और 2007 में बनी आनंद भी बाहर है। नगरपालिका क्षेत्र में दस से अधिक कालोनियां हैं।
* कोलोनाईजर्स ने कालोनियों का निर्माण अपनी मनमर्जी से किया। उन्होंने राजस्थान सरकार से स्वीकृत कराए नक्शे बस्तों में आलमरियों में बंद किए और नियमों को पूरा नहीं करते हुए निर्माण किए। कालोनियों में सामुदायिक स्थल तक को इधर उधर कर दिया गया और वहां निर्माण नहीं कराए गए। पुरानी कालोनियों में हरेक में पचास से सौ तक भूखंड खाली पड़े हैं जिनमें झाड़झंखाड़ घासफूस गंदगी रोगाणु और खतरनाक विषैले जीव जंतु पनप रहे हैं तथा आसपास के लोगों को मालुम तक नहीं की ये संपत्ति किन लोगों की है,वैध है या फिर काली कमाई को छिपाने की खरीदारी है।
* कालोनियां नगरपालिका के सुपुर्द ही नहीं लेकिन नगरपालिका के अधिकारियों और चुने अध्यक्षों व बोर्ड ने बड़े निर्माणों के नाम पर करोड़ों रूपये कालोनियों में लगाए। इंजिनियरों ने नक्शे माप किए और अधिशासी अधिकारियों ने सब जानते हुए मंजुरियां दी चैक जारी किए। सिस्टम के कमीशन के रूप में बड़े अनुमान से 30-40 करोड़ रूपये अधिकारी चुने हुए नेता आदि ने हड़पे,जबकि सभी को मालुम था कि कालोनियां नगरपालिका के सुपुर्द नहीं प्राईवेट निजी मालिकों के पास है। कालोनियों में नयी सड़कें नालियां निर्माण,मरम्मत, बिजली आदि के नाम पर करोड़ों रूपये बहाए और अपना कमीशन और उचंती हिस्से दारियां भी रखी। सड़कों के निर्माण मरम्मत आदि के टेंडर तक कालोनियों के नाम से हुए। नगरपालिका को तो प्राईवेट कालोनियों में एक पैसा तक नहीं लगाना था। नगरपालिका को कालोनियां सुपुर्द ही नहीं तब तक व्यवस्था और खर्च मालिकों के हैं। साफ सफाई तक कोलोनाईजर करें नगरपालिका अधिकारी साफ सफाई कचरा निस्तारण आदि पर खर्च करने तक के भी दोषी हैं।
नगरपालिका का कुछ निश्चित भूखंडों पर अधिकार होता है जो नीलाम कर जमा रकम नगरपालिका में इस्तेमाल कर सकती है जो यहां अभी तक कोई कार्वाई नहीं हुई। सामुदायिक भूखंड भी जहां कोलोनाईजर ने पट्टे आदि बना कर हड़प लिए वह भी बड़े घोटालों में है। सड़कों के पास दुकानों के निर्माण में बरामदे थे लेकिन नगरपालिका अधिकारियों की मिलीभगती से दुकानों और होटलों में शामिल कर लिए गये। नगरपालिका क्षेत्र में दस से अधिक कालोनियां हैं जिनके निर्माता अपनी टूट फूट सभी प्रकार का मलबा निस्तारण नहीं करते बल्कि नगरपालिका सीमा में और सड़कों के किनारे फेंक देते हैं। सभी कालोनियों के आसपास नगरपालिका क्षेत्र में गंदगी फैल रही है और नगरपालिका की ओर से कोई निरीक्षण नहीं नोटिस नहीं।
वर्तमान अधिशासी अधिकारी पूजा शर्मा से कालोनियों में व्यवस्था बाबत जानकारी चाही तब उन्होंने बताया कि एक भी प्राईवेट आवासीय कालोनी नगरपालिका प्रशासन के सुपुर्द नहीं हुई है। सबसे पुरानी बनी बसंत और आनंद भी नगरपालिका के सुपुर्द नहीं है। अधिशाषी अधिकारी ने बताया कि कोलोनाईजर सरकार के नॉर्म्स (नियम) पूरे नहीं करते। ०0०
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बुधवार, 12 नवंबर 2025
छाबड़ा राजकीय महाविद्यालय में सांस्कृतिक प्रतियोगिताओं का आयोजन*
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़, 12 नवम्बर 2025.
स्वर्गीय श्री गुरुशरण छाबड़ा राजकीय महाविद्यालय, सूरतगढ़ में सांस्कृतिक समिति के तत्वावधान में 11 नवम्बर 2025 को रंगोली प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। प्रतियोगिता में छात्राओं ने अपनी सृजनात्मकता और रंगों के माध्यम से सुंदर कलात्मक प्रस्तुतियाँ दीं।
सांस्कृतिक आयोजन समिति सचिव पारुल भटेजा ने बताया कि रंगोली प्रतियोगिता में प्रथम स्थान समूह क्रमांक 4 की छात्राएँ ऋषिका, सुमन और नसीब ने प्राप्त किया।
द्वितीय स्थान दो समूहों - समूह- प्रथम (सनाया, रेनूका, रमणदीप और नेहा) तथा समूह-द्वितीय (संजू, बी.ए. सेमेस्टर तृतीय) ने संयुक्त रूप से हासिल किया।
तृतीय स्थान- समूह की सरला (बी.ए. सेमेस्टर प्रथम) ने प्राप्त किया।
इस प्रतियोगिता के निर्णायक मण्डल में डॉ. सुनील पूनिया,मनीष गोदारा तथा लक्ष्मीदेवी नंदा शामिल रहे।
इसके पश्चात 12 नवम्बर 2025 को मेहंदी प्रतियोगिता का आयोजन किया गया, जिसमें छात्राओं ने अत्यंत सुंदर और आकर्षक मेहंदी डिज़ाइन प्रस्तुत किए।
मेहंदी प्रतियोगिता में प्रथम स्थान- बसकरो , द्वितीय स्थान- द्रौपती तथा तृतीय स्थान - सरला ने प्राप्त किया।
इस प्रतियोगिता के निर्णायक संकाय सदस्य सरस्वती देवी,लक्ष्मी नारायण पारीक तथा लेफ्टिनेंट राजन सिंह रहे।o0o
सूरतगढ़. उपखंड कार्यालय में बनाया टायलेट कब खोलोगे.महीनों से ताले बंद.
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 12 नवंबर 2025.
ग्राम पंचायत 1एल.एम ने विधायक के क्षेत्रीय विकास फंड की स्वीकृत राशि से उपखंड कार्यालय सूरतगढ़ के परिसर में 4 लाख 76 हजार की राशि से सामुदायिक स्वच्छता काम्प्लेक्स ( टायलेट) का निर्माण कराया जो निर्माण के बाद से ही कई महीनों से ताले लगे हालत में बंद पड़ा है।
सरपंच सतपाल मेहरड़ा ने विधायक रामप्रताप कासनिया से मिले फंड सन् 2023-24 से यहां बनवा दिया है तो इसको तालों में बंद क्यों रखा हुआ है? सामुदायिक है जनता के उपयोग के लिए है तो गलत स्थान पर बनाया गया और उसे बंद करके रख दिया। शहर में बनाया ही था तो उपखंड कार्यालय परिसर के पास बाहर की ओर ही बना दिया जाता तो कार्यालय समय के बाद भी लोगों के लिए उपयोगी होता।०0०
मंगलवार, 11 नवंबर 2025
सूरतगढ़:ट्रैफिक पुलिस क्या है हालात?
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 11 नवंबर 2025.
ट्रैफिक पुलिस में एक पखवाड़े से इंचार्ज का पद खाली है और आवश्यकता से कम स्टाफ है इसलिए जिला स्तर जैसे सूरतगढ़ में इंचार्ज और स्टाफ बढाने की आवश्यकता जिला पुलिस अधीक्षक के लिए विचारणीय होनी चाहिए।
दीपावली के बाद से इंचार्ज का पद रिक्त है। इंचार्ज मूलसिंह शेखावत को मौखिक आदेश से जैतसर थाने में लगा दिया गया। इंचार्ज का पद खाली होने से कार्य प्रभावित हो रहा है। जिला पुलिस अधीक्षक को को इंचार्ज का पद तुरंत भरना चाहिए। इसके अलावा शहर के फैलाव, राष्ट्रीय उच्च मार्ग की स्थिति में कम से कम दो कांस्टेबल अधिक लगाए जाने चाहिए। जिला पुलिस अधीक्षक को यह स्थिति सूचित की गई है।०0०
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