डीडवाना विधायक रूपराम डूडी व सूरजगढ़ विधायक श्रवणकुमार के नाम
नेछवा थाने में दर्ज मुकद्दमें में पुलिस अधिकारियों के नाम
खबर- करणीदानसिंह राजपूत
यह मुकद्दमा नेछवा थाने में अदालत के आदेश पर दर्ज हुआ है,जिसमें आरोप लगाया गया है कि मनीष आर्य की हत्या के भगोड़े आरोपी सीताराम को पकड़े जाने के बाद नेछवा थाने में से दबाव डाल कर छुड़वा दिया गया। अदालत में मनीष आर्य के पिता शुभकरण ने इस्तगासा पेश किया था जिस पर अदालत ने मुकद्दमा दर्ज कर अनुसंधान करने के आदेश दिए हैं। नेछवा थाने में यह प्रकरण दर्ज होने के बाद सीआईडी सीबी को जांच सौंप दी गई है।
घटनाक्रम के अनुसार 2 वर्ष पूर्व 17 अप्रेल 2010 को सुजानगढ़ में मनीष आर्य की हत्या हुई जिसमें कई लोगों पर मामला दर्ज हुआ था। एक आरोपी सीताराम निवासी गांधी बस्ती सुजानगढ़ भी था जिसे अदालत ने 18 मई 2010 को भगौड़ा घोषित कर स्थाई वारंट जारी कर दिया था।
नेछवा थाने के प्रभारी महावीरसिंह ने सीताराम को नाकाबंदी करके 14 अगस्त 2010 को पकड़ लिया। थानाधिकारी ने इसकी सूचना उच्चाधिकारियों को दे दी। इसके बाद दबाव डाल कर सीताराम को छुड़वा दिया गया।
अदालत के आदेश पर पुलिस थाना नेछवा में जिन लोगों के विरूद्ध मुकद्दमा दर्ज हुआ है उनमें राजस्थान जाट महासभा के अध्यक्ष राजाराम मील और डीडवाना विधायक रूपराम डूडी व सूरजगढ़ विधायक श्रवणकुमार के नाम भी आरोपियों में हैं।
इनके अलावा उस समय के पुलिस अधिकारियों
पुलिस महानिरीक्षक मोहन लाल लाठर जयपुर रेंज,
एस.पी. एस.एन.खीची चुरू
एएसपी अनिल क्याल
एस.पी. नितेश आर्य सुजानगढ़,
एएसपी पृथ्वीराज मीणा सीआईड सीबी जयपुर
थाना प्रभारी राजेश बिश्रोई सुजानगढ़
के नाम हैं।
मुकद्दमें में विधायकों के नाम होने से प्रक्रियानुसार यह जांच सीआइडी सीबी को सौंपी गई है।