सोमवार, 31 जनवरी 2022

राष्ट्रीय राजमार्ग के इंदिरा सर्किल पर बनेगा फ्लाईओवर: 26 करोड़ की वित्तीय स्वीकृति

 

* करणीदानसिंह राजपूत *

सूरतगढ़ 31 जनवरी 2022.

राष्ट्रीय राजमार्ग पर सूरतगढ़ में इंदिरा सर्किल पर फ्लाईओवर निर्माण के लिए केंद्र सरकार ने प्रशासनिक और वित्तीय स्वीकृति जारी कर दी है। इसके लिज 26 करोड़ 60 लाख 57 हजार 501 रुपए किए स्वीकृत किए गए हैं।

फ्लाईओवर का निर्माण कमल होटल के पास से शुरू होगा। इसके अलावा धानमंडी गेट के पास  एक अंडरपास का निर्माण भी होगा। विधायक रामप्रताप कासनिया ने यह जानकारी दी।

भाजपा नगर मंडल के अध्यक्ष सुरेश मिश्रा एवं  महामंत्री लालचंद शर्मा ने

इस स्वीकृति पर माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी,केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री श्री नितिन गडकरी, लोकसभा सांसद श्री निहाल चंद एवं सूरतगढ़ विधायक श्री रामप्रताप कासनिया का आभार प्रगट किया है। 

लोग कासनिया के निवास पर पहुंच कर आभार प्रगट कर रहे हैं और माल्यार्पण कर रहे हैं।०0०

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रविवार, 30 जनवरी 2022

सूरतगढ़ में महाभ्रष्टाचार टीसी जमीनों की इकरारनामों से खरीद बेचान। कोलोनाईजर व सरकारी अमला लिप्त.

 

* करोड़ोँ की जमीनें बिक गई।कालोनियों का निर्माण*


* करणीदानसिंह राजपूत *


सूरतगढ़ नगर पालिका पेराफेरी क्षेत्र और तहसील क्षेत्र में हाईवे पर अस्थाई कास्त  की जमीने कॉलोनाइजरों  द्वारा इकरार नामों पर खरीदे जाने और कॉलोनियां बनाने के गैर कानूनी कार्य धड़ल्ले से चल रहे हैं।  कॉलोनाइजरों की अवैध खरीद बेचान कार्य में सरकारी कर्मचारियों के लिप्त होने से  यह कार्य पिछले 2 साल से बहुत बढ़ गया है। वैसे यह कार्य करीब 2015-16 से शुरू हो गया था। 

अस्थाई कास्त के लिए दी जमीनें जो कि सरकार की ही होती है किसान उसे बेच नहीं सकता और खरीदार खरीद नहीं सकता लेकिन सूरतगढ़ तहसील में पिछले कुछ सालों से इकरार नामों पर ऐसी जमीन बेचने के इकरारनामे  हुए हैं जिनकी संख्या बहुत बड़ी है। अगर कोई किसान जमीन इस तरह से बेचता है तो वह फिर से रकबा राज हो जाती है लेकिन अधिकारियों की मिलीभगत से वहां अवैधानिक ढंग से अनेक कमियां होते हुए भी कॉलोनियों का निर्माण हो रहा है। सूरतगढ़ में ऐसे इकरारनामों की जांच से ही घपला उजागर हो सकता है।

नगर पालिका अपनी पेराफेरी की जमीन को आवंटित करने के लिए नो ऑब्जेक्शन प्रमाण पत्र भी गुपचुप रूप से दे चुकी है। ये नो आब्जेक्शन भी जांच का बड़ा  मुद्दा है। इनमें कालोनाइजरों और बड़े राजनीतिक लोगों का हाथ है। लाखों रूपये और बड़े दबाव से ये जारी होते रहे हैं। 

इस प्रकार के अनेक प्रमाण पत्र जारी हो सरकारी जमीनों के खरीदने बेचने कॉलोनियां काटने और इसमें शामिल होने वालों के विरुद्ध कोई भी कार्रवाई इसलिए नहीं होती कि लगभग सभी राजनीतिक दलों के बड़े लोग इसमें लिप्त हैं। पत्रकार भी कोई समाचार छापना नहीं चाहते। कोई भ्रष्टाचार निरोधक ब्युरो में इस भ्रष्टाचार के खिलाफ शिकायत को तैयार नहीं है।

 कॉलोनाइजर द्वारा जमीनें  गैरकानूनी तरीके से खरीदे जाने के कारण असल में पुख्ता आवंटन की मांग कर रहे हैं किसानों के अधिकारों का हनन हो रहा है तथा उनकी पूछ नहीं हो रही है। सरकार को गुप्त रूप से यहां जांच करवानी चाहिए कि कितने असली लोग हैं और कितनी जगह पर कॉलोनाइजर ने जमीन हथिया ली है ताकि असली हकदार के अधिकारों पर कोई आपत्ति नहीं आए।०0०








रेल मंडल प्रबंधक को वरिष्ठ नागरिक कंसेशन सुविधा शुरू करने वास्ते ज्ञापन

  

* करणीदानसिंह राजपूत *

सूरतगढ़।

रेलों में वरिष्ठ नागरिकों दिव्यांगों को कंसेशन सुविधा शुरू की जाए और मेल एक्सप्रेस के जनरल कोचों में आरक्षण समाप्त किया जाए।

 यह मांग श्रीगंगानगर जिला रेल विकास समिति के अध्यक्ष ललित शर्मा और सूरतगढ़ रेल विकास समिति के अध्यक्ष अमित कड़वासरा व अन्य कार्यकर्ताओं के द्वारा 29 जनवरी को मंडल रेल प्रबंधक को सूरतगढ़ रेलवे स्टेशन पर की गई।

मंडल प्रबंधक को ज्ञापन देते वक्त कहा गया कि अन्य रेलवे में जनरल कोचों में आरक्षण खत्म कर दिया गया है तथा सीधे टिकट लेकर यात्री मेल एक्सप्रेस में सवार हो सकते हैं लेकिन बीकानेर मंडल उत्तर पश्चिमी रेलवे में यह आरक्षण चालू है जिससे यात्री यात्रा नहीं कर पाते। इससे रेलवे को भी प्रतिदिन लाखों रुपए का नुकसान इस क्षेत्र में होता है। मंडल प्रबंधक ने बताया कि एक प्रस्ताव पहले भेजा हुआ था अब पुनः प्रस्ताव बनाकर भेजा जाएगा और यह सुविधा शुरू कराने का प्रयास रहेगा।०0०






शनिवार, 29 जनवरी 2022

चुनाव आयोग ने पत्रकार करणीदानसिंह के सुझाव को माना, लिखा इससे चुनाव प्रक्रिया श्रेष्ठ होगी.

 



सूरतगढ़ 29 जनवरी 2022.
राष्ट्रीय निर्वाचन आयोग ने वरिष्ठ पत्रकार करणीदानसिंह राजपूत के चुनाव संबंधी एक प्रक्रिया में सुधार करने के  सुझाव को महत्वपूर्ण  मान नोट किया है।
निर्वाचन आयोग ने इस सुझाव की सराहना करते लिखा है कि इससे चुनाव प्रक्रिया श्रेष्ठ होगी।




पत्रकार करणीदानसिंह राजपूत ने प्रत्याशियों के आपराधिक विवरण प्रकाशन प्रक्रिया में महत्वपूर्ण सुझाव 23 जनवरी 2022 को भेजा था। सुझाव में लिखा गया था कि आपराधिक विवरण में केवल भारतीय दंड संहिता की धाराएं प्रकाशित करवा दी जाती है जिससे आम जनता अपराध का समझ नहीं पाती। भा.दं.सं.302 लिखा है तो लिखा जाए हत्या,किसकी, दिनांक, थाना ,अदालत पैंडिंग फैसला आदि।
इसके अलावा आर्थिक अपराध व भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो आदि के अपराध भी शामिल किए जाएं।
चुनाव आयोग द्वारा इसके नोट करने की सूचना पत्रकार राजपूत को 29 जनवरी को मिली।०0०


करारी हार के बाद खुशी की तलाश में स्वागत कराने निकले भाजपा प्रदेशाध्यक्ष

 



करणी दान सिंह राजपूत

श्रीगंगानगर जिले में भारतीय जनता पार्टी के हाल ही के पंचायत चुनाव में करारी हार हुई और जिले की एक भी पंचायत समिति में भाजपा का प्रधान नहीं बन पाया।
पंचायत की हार बहुत बुरी होती है। पांच साल तक किसी भी पंचायत में भाजपा के हाथ से कोई काम नहीं होगा। यह छोटी सी हंस कर या मुंह फेर कर टाली जाने वाली घटना नहीं है। यह ऐसी दुर्घटना है जिसमें सब चूर चूर हो गया।

श्री गंगानगर जिले में पंचायत चुनाव में सभी पंचायत समितियों में हार होने की समीक्षा की जाती। हार के कारणों को खोजा जाता और ये कारण पैदा करने वालों का भी मालुम किया जाता।
विधायक पूर्व विधायक सांसद जिलाध्यक्ष से मंडलों मोर्चों प्रकोष्ठों में नाकामयाब रहने वाले काम नहीं करने वाले पदाधिकारियों पर नजरें डाली जाती। अगर ये काम करते तो भाजपा नहीं हारती। मनोनीत करने का उपहार पहले कांग्रेस ने 40-45 साल पहले शुरू किया और उसका अनुगमन भाजपा करने लगी। कांग्रेस की हालत देख कर भी भाजपा नेताओं ने यह पद्धति नहीं बदली। आज तक मनोनयन हो रहे हैं। ये मनोनीत स्वागत करने में काम आ सकते हैं।यह स्वागत में प्रमाणित हो जाएगा।

* क्या भाजपा नेताओं की अकड़ और कार्यकर्ताओं की पूछ नहीं होने से हार हुई। यह इस दौरे में मालुम पड़ जाएगा। ऐसी रिपोर्ट्स छिप भी नहीं सकती। इससे पहले विधानसभा चुनाव और नगरपालिका चुनावों  में शहरों गांवों में हर गली मोहल्ले की सभाओं में कहते थे,आधी रात को भी काम पड़े तो याद करना हम हाजिर रहेंगे हमारे दरवाजे हर समय खुले मिलेंगे। ये वादे दो चार दिन में ही हवा हो गए। नेताओं ने दिन में ही दरवाजे बंद कर लिए। यह शर्मनाक सच्च है।आखिर जनता भाजपा के दरवाजे पर कैसे बार बार आती।

किसानों को जो कहा गया वह भी शर्मनाक रहा। यह नहीं सोचा कि उनके दरवाजे पर जाना होगा तब क्या कहेंगे? मोदी जी ने किसानों से माफी मांग ली। किसानों संबंधी कानून वापस ले लिए। उन्होंने कहा हम किसानों को समझा नहीं सके। किसानों को कौन समझाता। भाजपा के विधायक सांसद प्रदेशाध्यक्ष और नगर गांव तक के पदाधिकारी। किसी ने नहीं समझाया। एक दो बार खानापूर्ति सी हुई। कागजी सी।
मोदी जी ने माफी मांग ली,यहां के किसी नेता ने तो माफी नहीं मांगी। किसानों ने भी धोया और ऐसा धोया कि जिले की किसी भी पंचायत में  प्रधान पद पर दिखाई ही न दे। इन सब नेताओं ने यह हालात पैदा करने में कोई कसर नहीं छोड़ी। इन लोगों ने तो कार्यकर्ताओं को भी नहीं पूछा। कोई नेता पदाधिकारी गया किसी कार्यकर्ता के घर कभी सुखदुख पूछने?  जवाब मिलेगा 'ना' इस ना को गांव से दिल्ली तक रबड़ की तरह खींच लेना, यह टुटेगा नहीं। जीतने वालों ने ही जनता को नहीं पूछा तो हारे हुए क्या पूछते। घरों में युवा मोर्चा और महिला मोर्चा सबसे अधिक प्रभाव डालते हैं। इनकी जिले में क्या स्थिति है? प्रदेश मे बैठे पदाधिकारी हर जिले पर नजर क्यों नहीं रख पाए? यह गलती उनकी भी है। अध्यक्ष सतीश पूनिया भी सभी के साथ बराबर के दोषी हैं। यह हाल जो श्री गंगानगर जिले का है वह इस दौरे से सुधरने वाला नहीं है। हर नेता में अकड़ भरी है और उस अकड़ से पहले पालिकाओं में हारे और पंचायत चुनाव में तो सुपड़ा ही साफ हो गया। सच्च तो यह है कि विधायकों और पूर्व विधायकों को जनता फिर से देखना ही नहीं चाहती। सांसद एक हैं इसलिए नाम दे रहा हूं कि निहालचंद जी मेघवाल से जनता अब और निहाल नहीं होना चाहती।
प्रदेशाध्यक्ष का स्वागत तो निर्देशों पर है इसलिए यह तो हर जगह होना ही है और खूब जोरशोर से होना है। इन स्वागतों से भी कोई भरोसा नहीं करना ही ठीक है। ये स्वागत ऐसे होते हैं कि निकले और पीछे हवा तक नहीं।
* पराजय की समीक्षा न करके यह दौरा चाहे किसी भी प्रयोजन के लिए हो लेकिन एक हवा और भी चल रही है।पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे का बीकानेर संभाग का दौरा होने वाला है। वसुंधरा राजे अपना कार्यक्रम धार्मिक आध्यात्मिक रूप में मनाती और प्रचारित करती है। वसुंधरा के दौरे से पहले प्रदेशाध्यक्ष का दौरा कहीं न कहीं इस राजनीति की हवा भी फैला रहा है या समझो यह लग रहा है। वसुंधरा को खत्म करने के चक्कर में राजस्थान में अपने ही पांवों पर भाजपा नेताओं ने कुल्हाड़ी मार ली। कार्यकर्ताओं के सपने टूट गए। इस बार ऐसा ही करने की कोई राजनीति है तो भाजपा की हालत पंचायत समितियों से भी बुरी हो जाएगी। वसुंधरा राजे की ताकत के बराबर ताकत वाला नेता अभी प्रदेश में नहीं है। प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया भी नहीं। एक आवाज से राजस्थान को खड़ा करदे। वह ताकत किसके पास है? प्रजातंत्र में दिल्ली के राजतंत्र एकतंत्र को जबरन घुसेड़ना चाहते हैं तो नुकसान देह होगा। बस राजस्थान के विधानसभा चुनाव 2023 आए। जनता जिनको देखना नहीं चाहती कार्यकर्ताओं के मन से भी उतर गए और वे जो चुनाव में प्रदेश संबंधों से आना चाहते हैं मगर इलाके में नाम नहीं, कोई जानता तक नहीं, ऐसों को भूल से भी टिकट दे दिया गया तो हालात प्रदेश स्तर तक खराब ही खराब होंगे।०0०

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बुधवार, 26 जनवरी 2022

गुरुकुल पालीवाला की प्राचार्य चेतना अरोड़ा रेडिएशन बायलॉजी की अंतरराष्ट्रीय सेमिनार में सम्मानित

 

* विशेष खबर- करणीदानसिंह राजपूत 

सूरतगढ़ 26 जनवरी 2022.


दाहिनी ओर डा.चेतना अरोड़ा


रेडिएशन बायलॉजी विषय पर आयोजित अंतरराष्ट्रीय सेमिनार में गुरुकुल इंस्टीट्यूट ऑफ पीजी स्टडीज एंड रिसर्च पालीवाला ( सूरतगढ़) की निदेशक प्राचार्य डॉ चेतना अरोड़ा को युवा वैज्ञानिक पुरस्कार सत्र की अध्यक्षता सौंपी गई।

सेमीनार में  उनके शोध पर प्रशस्ति पत्र प्रदान कर सम्मानित किया गया। 

यह अंतर्राष्ट्रीय सेमिनार बीकानेर के डूंगर महाविद्यालय में 19 जनवरी से 21 जनवरी तक हुई जिसमें लगभग 110 शोध पत्र पढ़े गए। डॉक्टर चेतना के शोध पत्र पर विशेष ध्यान आकर्षित हुआ।


डॉक्टर डॉ चेतना अरोड़ा द्वारा इलेक्ट्रॉन बीम के साथ प्रदूषित व अपशिष्ट जल का  विसंक्रमण विषय पर शोध पत्र था। यह शोध पत्र उन्होंने 20 जनवरी को पढा। इसमें इलेक्ट्रॉन बीम द्वारा अपशिष्ट व प्रदूषित जल को कुछ ही क्षणों में उपयोगी बनाया जा सकता है। इसमें शतप्रतिशत तक कोलाई निष्क्रिय हो जाते हैं। इस विधि से जल की रासायनिक प्रकृति में कोई परिवर्तन नहीं होता और जल की उपयोगिता बनी रहती है। ०0०

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सोमवार, 24 जनवरी 2022

आईएएस ज़ाकिर हुसैन मतदाता दिवस पर 25 सम्मानित होंगे:इसलिए होंगे सम्मानित

 




* करणीदानसिंह राजपूत *

श्रीगंगानगर, 23 जनवरी 2022.

 जयपुर स्थित शासन सचिवालय मे 25 जनवरी 2022 को निर्वाचन विभाग द्वारा माननीय राज्यपाल के मुख्य अतिथ्य व आयुक्त निर्वाचन विभाग एवं मुख्य सचिव के विशिष्ट अतिथ्य मे आयोजित एक वर्चुअल समारोह मे श्रीगंगानगर के जिला कलेक्टर रहे वर्तमान मे विशिष्ट शासन सचिव पद पर पदस्थापित भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी ज़ाकिर हुसैन को राज्य स्तरीय पुरस्कार से सम्मानित किया जायेगा।

 मुख्य निर्वाचन अधिकारी राजस्थान प्रवीण गुप्ता ने बताया कि राज्य स्तरीय चयन समिति ने ज़ाकिर हुसैन के जिला कलेक्टर रहते हुये भारत निर्वाचन आयोग, निर्वाचन विभाग के निर्धारित मापदंडों के विभिन्न मानको के आधार पर निर्वाचन सम्बंधी समस्त कार्य पूर्ण निष्ठा एवं समर्पण के साथ सम्पन्न करवाये जाने के कारण राज्य स्तरीय पुरस्कार से सम्मानित करने का निर्णय लिया।

 25 जनवरी 2022 को सुबह शासन सचिवालय के कांफ्रेंस हाल मे पुरस्कार देकर सम्मानित किये जाने के लिये चयनित होने पर श्री ज़ाकिर हुसैन को बडी तादाद मे अधिकारियों व आम लोगो द्वारा मुबारकबाद दी जा रही है। ०0०

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राजस्थान नगर पालिका में किसी भी चेयरमैन को हटाना आसान नहीं

 



* करणीदानसिंह राजपूत *


राजस्थान नगर पालिका दुनिया में परिवर्तन के बाद किसी भी चेयरमैन वाइस चेयरमैन को अविश्वास प्रस्ताव से हटाना आसान नहीं है।

 यह चेयरमैन और वाइस चैयरमैन की खूबी/योग्यता या अयोग्यता से संबंध नहीं है। नियम ही ऐसा बन गया है कि अविश्वास प्रस्ताव लाने वाले उस संख्या तीन चौथाई तक पहुंच ही नहीं पाते। नियम के मुताबिक अब चेयरमैन वाइस चेयरमैन को हटाने के लिए कुल वोट संख्या का तीन चौथाई हिस्सा चाहिए। चेयरमैन के पास चौथाई हिस्सा है तो वह हटाया नहीं जा सकता। पहले दो तिहाई मतों की आवश्यकता होती थी वहां तक जोर लगा कर जोड़ तोड़ बड़ा बंदी कर पहुंच जाते थे फिर भी सफलता मिले या नहीं मिले इसकी गारंटी नहीं होती थी।

* गंभीर भ्रष्टाचार का आरोप हो तो सरकार जांच से पहले चैयरमैन को सस्पेंड कर सकती है। 

उदाहरण सूरतगढ़ नगर पालिका का ही लें।

सूरतगढ़ में कुल 45 वार्ड हैं। इन 45 पार्षद जिसमें एक चेयरमैन और एक वाइस चेयरमैन है।चेयरमैन या वाइस चेयरमैन के विरुद्ध अविश्वास प्रस्ताव लाने के लिए तीन चौथाई मत चाहिए। कम से कम 35 वोट की आवश्यकता होती है। इतने पार्षद एकत्रित होना बहुत कठिन है। 

सूरतगढ़ में चेयरमैन के साथ 12 पार्षद हैं तो उसे कोई नहीं हटा सकता। इनमें एक एक चैयरमैन स्वयं है और एक वाइस चेयरमैन  है तो 10 पार्षद चाहिए। चेयरमैन के लिए 12-13 का सहयोग है तो वह हटाया नहीं जा सकता।

इसे चेयरमैन की खूबी योग्यता से संबंधित करना कोई मेल नहीं रखता।


 * अगर चेयरमैन अयोग्य है पार्षदों की पसंद नहीं है लेकिन उसके पास में कुल 12-13 पार्षदों का साथ है तो उसे कोई नहीं हटा सकता। 

सूरतगढ़ में पिछले भाजपा बोर्ड में चैयरमैन  काजल छाबड़ा का विरोध तो था मगर उस समय भी जबानी विरोध होता रहा लेकिन अविश्वास के लिए संख्या नहीं हुई इसलिए हटाने के लिए प्रयास नहीं हुआ।


यही हाल वर्तमान कांग्रेस बहुमत वाले बोर्ड का भी है। ओमप्रकाश कालवा का जबानी विरोध है वह भी रोते पड़ते ही है। कालवा को हटाने के लिए 35 पार्षद चाहिए। वह संभव ही नहीं है। विपक्ष भारतीय जनता पार्टी के 12 पार्षद चुने गए लेकिन चेयरमैन के चुनाव के वक्त भारतीय जनता पार्टी को केवल 11 वोट मिले यानी कि 1 वोट कम हुआ। 

* चेयरमैन में खूबी हो या ना हो एक बार बनने के बाद में हटाना बहुत मुश्किल है। अब पूरे राजस्थान में किसी भी चेयरमैन को पद से अविश्वास के जरिए हटाना बहुत मुश्किल है।

 * लेकिन इसे पत्थर पर लिखा पक्का मान कर भी नहीं चलना चाहिए। कभी कभी आनबान की लड़ाई में हाथ धोकर पीछे पड़े लोग विभिन्न तौर तरीके षड़यंत्र आदि अपना कर संख्या पूरी भी कर लेते हैं। 

एक कहावत है।

" कदैई कदैई गादड़ा सूं सिंघ हार जावै,

बख्त को भरोसो कोनी कद पलटी मार जावै।०0०







शनिवार, 22 जनवरी 2022

आपातकाल लोकतंत्र सेनानियों का भरोसा न टूटे, उचित समय बीत रहा है सम्मान करें।

 


* करणीदानसिंह राजपूत*
मेरे देशवासियों,नेताजी सुभाषचंद्र बोस और आजाद हिंद फौज भारत की आजादी के लिए युद्ध कर रहे थे और हम लोकतंत्र सेनानियों ने भी आपातकाल 1975-77 में देश की आजादी के लिए ही युद्ध किया था। 
अंग्रेजी शासन ने देश को बेड़ियों में जकड़ रखा था और आपातकाल में कांग्रेस के इंदिरा शासन ने बेड़ियों में जकड़ दिया था। अंग्रेजी शासन में और आपातकाल के इंदिरा शासन में कोई अंतर नहीं था। शासन के विरुद्ध आवाज उठाने वालों को जेल में डालना और उन पर अत्याचार करना दोनों शासन में हुआ। 
युद्ध करना हंसी खेल तो नहीं था। अपना परिवार, व्यवसाय पढाई छोड़कर नौकरियों को त्याग कर विरोध में उठे और युद्ध में कूद पड़े। किसी ने यह परवाह नहीं की कि पीछे परिवार व्यवसाय का क्या होगा? वृद्ध माता पिता का क्या होगा? बच्चों की शिक्षा का क्या होगा? शादी लायक पुत्री बहन का क्या होगा? देश की आजादी संविधान की रक्षा के लिए सिरों पर कफन बांध निकले थे। 
युद्ध जीत कर लौटे तब उजड़े उजड़े से परिवार और व्यवसाय थे। परिवारों के सदस्य कंकाल नहीं थे मगर उनके शरीर कंकालों से कम नहीं थे। उनकी रोटी छूट गई थी। भोजन आधा या चौथाई रह गया था। 
युद्ध के विजेता लोकतंत्र सेनानियों ने अपना बहुत खोकर उजड़ कर देश को बचा लिया। जिस मातृभूमि को नमन करते हैं उसको बचा लिया। 
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने लोकसभा में कहा आपातकाल में जिन लोगों ने कुरबानियां दी उनके कारण आज प्रजातंत्र जीवित हैं और हम लोग सत्ता में हैं।ऐसे कुर्बानियां देने वालों का सम्मान किया जाना चाहिए।
प्रधानमंत्री के कहने के बाद सम्मान कौन करेगा? यह कर्तव्य किसका हो जाता है?
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के लोकसभा में कहने के बाद भी इतने वर्ष बीत गए। आपातकाल युद्ध जीतने वाले मोदीजी पर भरोसा करते हुए सम्मान की आशा में एक एक कर सैंकड़ों संसार से विदा हो गए। अपनी पत्नियों को मां भारती के पास छोड़ गए।
आज भी योद्धाओं को सम्मान की आशा है और उसी आशा की ज्योति को जलाए मैं भी खड़ा हूं। मेरा आपसे देशवासियों से यही कहना है कि यह भरोसा नहीं टूटे। यह टूट गया तो फिर ऐसा युद्ध करने को कौन आगे आएगा। अपना सब छोड़ कर। 
आप आपातकाल के लोकतंत्र सेनानी हैं या नहीं हैं मगर समय है कि आज लोकतंत्र सेनानियों के साथ उठ खड़े हों ताकि उनको सम्मान मिले और यह देश इस सम्मान का गवाह बन सके। 
* हम नेताजी सुभाषचंद्र बोस और उनके सैनिक जैसे भी नहीं है,लेकिन मातृभूमि भूमि और संविधान के रक्षक तो रहे हैं।
* आपातकाल लोकतंत्र सेनानियों का सम्मान करें.*
जय हिंद।
दि.22 जनवरी 2022.





करणीदानसिंह राजपूत, 76 वर्ष
पत्रकार लेखक आपातकाल जेलबंदी।
विजयश्री करणी भवन,
सूरतगढ़ (राजस्थान) भारत।
91 94143 81356.
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आपके मर्म को छुआ है और अन्य को पढाना चाहते हैं, जगाना चाहते हैं तो अब सोचें नहीं। शेयर करें। प्रकाशित करें। अखबारों को भेजें।
लेखक.
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सूरतगढ़ के नगरपालिका ईओ विजयप्रतापसिंह राठौड़: 24 जनवरी को कार्यभार ग्रहण करेंगे.

 



* करणीदानसिंह राजपूत *


सूरतगढ़ 22 जनवरी 2022.

नगरपालिका में अधिशासी अधिकारी के पद पर विजयप्रतापसिंह राठौड़ को लगाया गया है।  राठौड़ यहां सोमवार को कार्यभार ग्रहण करेंगे।

अधिशासी अधिकारी  राठौड़ को बाड़ी से सूरतगढ़ स्थानांतरित किया गया है। 

सूरतगढ़ में कुछ सालों के बाद वास्तविक अधिशासी अधिकारी की नियुक्ति हुई है। बाड़ी ईओ रहते दो अन्य नगरपालिकाओं का कार्यभार भी  राठौड़  को सौंपा गया था।

इससे पहले सूरतगढ़ में कर निर्धारक,अभियंता आदि को ही अधिशासी अधिकारी के रूप में लगाया जाता रहा।

विजयप्रतापसिंह राठौड़ मूल रूप से धौलपुर के कोटरा गांव के रहने वाले हैं। बाड़ी मे कर्तव्य निष्ठ और जन सेवा के लिए अग्रणी रहने वाले अधिकारी के रूप में ख्याति मिली।

०0०










शुक्रवार, 21 जनवरी 2022

शहरों के स्कूल बंद,मगर शहरों के हजारों बच्चे शहरों से बाहर के स्कूलों में पढने रोजाना जाते हैं लौटते हैं।

 

* करणीदानसिंह राजपूत *
कोरोना संक्रमण फैलाव रोकने के लिए जारी गाईड लाईन में ऐसा पेचीदा निर्देश है जिसके कारण शहरों  के स्कूलों के बच्चे शिक्षा से वंचित रह रहे हैं, लेकिन शहरों के जिन बच्चों ने शहरों के बाहर बने स्कूलों में प्रवेश ले रखा है वे बच्चे पढ रहे हैं। शहरों के हजारों बच्चे स्कूली वाहन से स्कूल जाते हैं और पढ कर घरों को लौटते हैं। 
ग्रामीण स्कूलों के वाहन शहर में आकर बच्चों को लेकर जाते हैं और वापस छोड़ कर जाते हैं।
* शहरों से बाहर पांच सात किलोमीटर दूर ग्रामीण क्षेत्रों में स्कूल शहरों के संचालकों के ही बनाए हुए हैं। शहरोँ में जगह ज्यादा कीमती और कम लगी तो शहरों  के नजदीक ही ग्रामीण क्षेत्रों में स्कूल खोल लिए। ऐसे ग्रामीण स्कूलों में शहरों के ही 80- 90 प्रतिशत बच्चे वाहन सुविधा होने से पढने को भर्ती हुए।
* अब अनुमान लगाएं कि एक शहर में 1000 बच्चे हैं जिनमें से 500 शहर के स्कूलों में हैं जो स्कूलों के बंद होने से पढाई से वंचित हैं। 500 बच्चे जो ग्रामीण स्कूलों में भर्ती हैं वे पढ रहे हैं।
स्पष्ट है कि शहरी स्कूलों के बच्चे कम्पीटीशन युग में कमजोर रहेंगे।
शहर से जो हजारों बच्चे रोजाना आते जाते रहेंगे, क्या उनसे कोरोना फैलने का खतरा नहीं है। गाईड लाईन के इस विवादास्पद निर्देश को संशोधित किया जाना चाहिए और शहरी स्कूलों को भी नियम लागू के निर्देश से खोलने का आदेश दिया जाना चाहिए।
दि.21 जनवरी 2022.
करणीदानसिंह राजपूत,
स्वतंत्र पत्रकार
( राजस्थान सरकार के सूचना एवं जनसंपर्क निदेशालय से अधिस्वीकृत)
सूरतगढ़ ( राजस्थान)
मो. 94143 81356
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नोट- लेख को प्रकाशित करना चाहें तो बिना संशोधन या परिवर्तन के कर सकते हैं। लेखक।
 


गुरुवार, 20 जनवरी 2022

श्रीगंगानगर: जिला कलक्टर रुकमणि रियार ने संभाला पदभार:ऐसे करेंगी कार्य

  

* करणीदानसिंह राजपूत *

श्रीगंगानगर 20 जनवरी 2022.


भारतीय प्रशासनिक सेवा की अधिकारी श्रीमती रुकमणी रियार ने गुरुवार को श्रीगंगानगर जिला कलक्टर एवं जिला मजिस्ट्रेट का पदभार संभाल लिया। 

कार्यवाहक जिला कलक्टर एवं जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी श्री मोहम्मद जुनैद ने श्रीमती रुकमणी रियार को जिला कलक्टर का पदभार संभलवाया। 


इस अवसर पर एडीएम प्रशासन श्री भवानी सिंह पंवार, नगर विकास न्यास सचिव डॉ0 हरीतिमा, एसडीएम श्री उमेद सिंह रत्नु, सहायक निदेशक जनसम्पर्क श्री अनिल कुमार शाक्य, सहायक सूचना एवं जनसम्पर्क अधिकारी श्री रामकुमार राजपुरोहित सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।





* ये रहेगी कार्य पद्धति *


 जिला कलक्टर ने कहा कि स्थानीय अधिकारियों और लोगों से मुलाकात के दौरान यहां की समस्याएं मालूम होंगी तो उसी के अनुसार उनका समाधान भी करवाने का प्रयास रहेगा। कोविड महामारी के दौरान राज्य सरकार की ओर से जारी गाइडलाइन की जिले में पूर्णतः पालना करवाए जाने को अपनी प्राथमिकता बताते हुए जिला कलक्टर ने कहा कि आमजन को भी सतर्कता के साथ जागरूक किया जाएगा ताकि बिना वजह उनमें भय ना फैले।

 उन्होंने कहा कि जिले में कोविड से बचाव के लिए वैक्सीनेशन बढ़ाने के साथ-साथ इसकी प्रभावी मॉनिटरिंग और टेस्टिंग पर भी जोर रहेगा। अधिकारियों के साथ मिलकर नियमित रूप से इसकी मॉनिटरिंग करवाई जाएगी। उन्होने आमजन से अपील की है कि कोविड-19 महामारी से बचने के लिए सतर्क व सावधान रहे तथा किसी प्रकार से भयग्रस्त नही होना चाहिए। 

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मंगलवार, 18 जनवरी 2022

सूरतगढ़ प्रशासन चौराहे पर यह स्वागत नगरपालिका को पुरस्कार देना चाहिए.

 

* करणीदानसिंह राजपूत *

सूरतगढ़ 17 जनवरी 2022.

नगरपालिका बोर्ड सराहना का हकदार है जो प्रशासन चौराहे पर अनगिनत खूशबू और दर्शनीय पुष्पों से स्वागत करता है। यह परिक्षेत्र बहुत महत्वपूर्ण है। यहां अतिरिक्त जिला कलेक्टर, सब डिवीजनल मजिस्ट्रेट, राजस्व तहसीलदार,सब रजिट्रार,सा.नि.वि के अधिशासी अभियंता आदि के कार्यालय हैं। यहां प्रतिदिन आने वाले हजारों लोग सुगंधित स्वागत पाते हैं।

नगरपालिका इस शोभनीय सराहनीय स्वागत कार्य के लिए पुरस्कार की हक तो रखती है।


* संपूर्ण शहर का बुरा हाल है*





लोग जानना चाहेंगे कि ऐसे स्वागत करने वाली नगरपालिका के अध्यक्ष और अधिशासी अधिकारी कौन हैं?

यहां के अध्यक्ष हैं श्री ओमप्रकाश कालवा और अधिशासी अधिकारी हैं श्री शैलेंद्र गोदारा।०0०








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