सोमवार, 31 अक्तूबर 2022
रविवार, 30 अक्तूबर 2022
सूरतगढ़:भाजपा में सुरेंद्र सिंह राठौड़ भी 2023 चुनाव के टिकट के दावेदार
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 30 अक्टूबर 2022.
भारतीय जनता पार्टी के पूर्व पार्षद सुरेंद्र सिंह राठौड़ ने भी घोषणा की है कि वे 2023 के विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा टिकट के दावेदार होंगे। सनसिटी रिसोर्ट के हॉल में रविवार 30 अक्टूबर को आयोजित दीपावली स्नेह मिलन एवं प्रीति भोज कार्यक्रम में राठौड़ ने मंच से अपने संबोधन में यह घोषणा की। यह कार्यक्रम सुरेंद्र सिंह राठौड़ ने ही आयोजित किया था जिसमें सैकड़ों व्यक्ति उपस्थित हुए।
वक्ताओं ने कहा कि भाजपा में नये युवा चेहरे को टिकट देने की मांग बढ रही है। भाजपा के अनेक लोग कार्यक्रम में उपस्थित थे।
विनोद सारस्वत, पवन ओझा व संजय सोढा ने वक्तव्य दिए। सुरेंद्र सिंह राठौड.
मंच संचालन महेन्द्र सिंह शेखावत ने किया।
सुरेंद्र सिंह राठौड़ का माल्यार्पण कर स्वागत भी किया गया। भाजपा के अनेक कार्यकर्ता इस स्नेह मिलन में उपस्थित रहे।
भाजपा के युवा नेता प्रेम सिंह राठौड़,विनयसिंह चंदेल,अजय सिसोदिया,जगदीश मेघवाल, राजगिरी,कृष्ण छीपा,अमित कपूर,किशन स्वामी, दीपू बवेजा,दीपू चोहान, प्रहलाद सिंह राठौड़ अध्यक्ष राजपुत संस्था, जयलाल भादू, लड्डू मुद्गल,राजेश शर्मा, आत्माराम बिश्नोई, पवन स्वामी, जयवीर सिंह राठौड़,पूर्व सरपंच फतेह सिंह राठौड़, सुरेन्द्र स्वामी करडु , सुभाष चौहान, विकास दीप गाबा,अनिल भार्गव, गोरव बलाना, मोहन जी, अशोक गोयल, अनिल भार्गव विकास शेखावत ,मंयक वशिष्ठ, सुरेश मिश्रा, कुलदीप बिश्नोई, विरेंदर शेखावत (पूर्व सरपंच) सहित कई लोग मौजूद थे। सुरेंद्र सिंह राठौड़ नगरपालिका सूरतगढ़ में पार्षद रह चुके हैं तथा वर्तमान में उनकी माता भाजपा की ओर से पार्षद हैं।०0०
शनिवार, 29 अक्तूबर 2022
गुलाब मामा इन्द्रसिंह चंदेल जोधपुर का निधन:देह मेडिकल कॉलेज को दान
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 29 अक्टूबर 2022.
गुलाब मामा इन्द्र सिंह चंदेल का बीती रात करीब 10 बजे 81 वर्ष की आयु में निधन हो गया। पूर्व घोषणानुसार डा.संपूर्णानंद मेडिकल कॉलेज को सौंपी जाएगी जिसकी तैयारी की जा रही है। मामा ने 6 साल पहले देहदान के फार्म भर कर प्रक्रिया पूरी कर दी थी। मामा की ईच्छा रही कि चिता में जलाकर राख बनाने के बजाय देह का दान मेडिकल कॉलेज को किया जाए जहां विद्यार्थियों की शिक्षा के लिए उपयोगी होगी।
कुछ वर्षों से श्वास रोग से जूझते मामा ने यह निर्णय लिया था। मामा चिकित्सालय में भर्ती थे जहां 28 अक्टूबर 2022 की रात को 10 बजे अंतिम सांस ली।
मामा जेसलमेर से जौधपुर आकर चौमुंडा कॉलोनी में बस गये थे।
करणीपालसिंह हनुमानगढ़, पत्रकार करणीदानसिंह राजपूत, प्रेमसिंह सूर्यवंशी सूरतगढ़ के मामा थे। ०0०
शुक्रवार, 28 अक्तूबर 2022
शिव स्वामी :श्रीगंगानगर सीट पर भाजपा का नया पावरफुल चेहरा:राजनीति गर्माएगी.
* करणीदानसिंह राजपूत *
श्रीगंगानगर जिला मुख्यालय की विधानसभा सीट पर राजनैतिक दृष्टि से चुनाव में नया चेहरा पॉपुलर चेहरा शिव स्वामी अन्य सभी राजनीतिक दलों पर भारी पड़ सकता है और भारतीय जनता पार्टी के सपने फिर से पूरे हो सकते हैं। भाजपा इस सीट पर विजय पताखा फहरा सकती है।
शिवकुमार स्वामी भारतीय जनता पार्टी के 40 वर्षों से अनेक पदों पर कार्य करते हुए लगभग सभी चुनावों में चाहे वह विधानसभा हो या लोकसभा चुनाव,नगर परिषद और पंचायत समिति चुनाव हों सक्रिय योगदान देने वालों में आगे रहे हैं। पिछले दो चुनावों का भीतरी और बाहरी तौर पर मनन करें और अन्य दावे करते चेहरों को भी समीक्षा में खड़ा करें तो शिव स्वामी का दावा भाजपा के अब तक के प्रत्याशियों में जनसंपर्क के कारण सर्वाधिक मजबूत है।
* राजनैतिक हलचल मचाने वाला यह नाम 2023 के चुनाव में अपना कौशल दिखा सकता है। राजनीति में जब चुनाव नजदीक होते हैं उस समय टिकटों के लिए दावेदारों में धनी लोगों के नाम गिने जाने लगते हैं जो हर पार्टी के कार्यकर्ताओं को बुरा लगता है। ऐसी सोच में नये चेहरों की चर्चा भी होती है। वह चर्चा अब भाजपा में और आम जनता में शिव स्वामी के नाम को शामिल करते हुए होगी।
श्री शिव कुमार स्वामी भाजपा संगठन में 40 सालों से कार्यरत है और जिला श्री गंगानगर में प्रदेश में और राष्ट्रीय नेताओं में अपना संपर्क रख रखते हैं। शिव स्वामी जिन पदों पर रहे उन पदों के प्रदेश और राष्ट्रीय नेताओं से प्रगाढ़ संपर्क रहे हैं। विश्वास के साथ यह कहा जा सकता है कि इतने संपर्क भाजपा के अन्य नेताओं के प्रदेश और राष्ट्रीय स्तर पर नहीं है। स्वामी अपने कर्तव्य और सेवाओं के कारण ही आज भाजपा में नया चेहरा और पावरफुल चेहरा बन गए हैं।
श्रीगंगानगर धन-धान्य से भरपूर विधानसभा सीट पर धनी लोगों की चर्चा हर चुनाव में होती रही है लेकिन पिछले सभी वर्षों का समीक्षा की जाए तो यह साबित होता है कि यहां न धन चला है और न यहां जातिवाद चला है। यहां पर समय के हिसाब से राजनीति के उठापटक से जो स्थितियां पैदा होती रही हैं उससे चुनाव में जीत हार होती रही है।
श्रीगंगानगर जिला मुख्यालय सीट अत्यंत महत्वपूर्ण है। श्री गंगानगर सीट पर 15 चुनाव हो चुके हैं।
यहां पर प्रोफेसर केदारनाथ जैसे जनप्रिय नेता 6 बार चुनाव लड़े और हर बार जीते। कहने को यहां अरोडा बाहुल्य सीट है लेकिन अरोड़ा राधेश्याम ने नौ बार टिकटों पर चुनाव लड़ा और केवल चार बार ही जीते। कांग्रेस से जीते तीन बार जीतने के बाद भारतीय जनता पार्टी से एक बार जीते। राधेश्याम दसवीं बार निर्दलीय लड़े और पराजित हुए।
अन्य को देखें तो मोतीराम,देवनाथ,सुरेंद्र सिंह,कामिनी जिंदल,राजकुमार गौड़ एक बार जीते हुए हैं। राजकुमार गौड़ कांग्रेसी हैं लेकिन
कांग्रेस की टिकट मिलने की आशा नहीं रही तो निर्दलीय लड़े।
श्रीगंगानगर की सीट बड़े बदलाव और नये चेहरे खिलाने की ओर बढ रही है। ऐसे समय में भाजपा में नये पावरफुल चेहरे में शिव स्वामी की उपस्थिति अधिक मजबूती से चर्चा और सर्वे के लिए हलचल पैदा करेगी।
शिव स्वामी छात्र राजनीति से सक्रिय हुए और फिर बड़ी राजनीति में प्रवेश किया। 1977-78 के कार्य में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के सहयोग से एसडीपीजी महाविद्यालय में छात्र संघ के महामंत्री चुने गए। सन् 79-80 में अध्यक्ष का चुनाव हुआ उसमें भाग लिया। छात्र आंदोलनों में जेल यात्रा भी मिली।
1982 मैं भारतीय मजदूर संघ जेसीटी मिल में सचिव का कार्य किया।
सन् 1983 का कार्यकाल बड़ी राजनीति में हुआ भारतीय जनता युवा मोर्चा जिला शाखा में महामंत्री बने और सन् 1984 में भारतीय जनता युवा मोर्चा में प्रदेश कार्य समिति में सदस्य के रूप में कार्य किया।
भाजपा प्रदेश कार्य समिति में 3 जुलाई 2006 से 7 जनवरी 2008 तक सदस्य के रूप में कार्य किया। वर्ष 2009 में जिला संगठन में पूरी तरह से सक्रिय रहे और अध्यक्ष के निर्देश पर अनेक मंडलों में प्रभारी के रूप में कार्य किया। नवंबर 2014 से भारतीय जनता पार्टी के जिला महा मंत्री बने।
सहकारिता क्षेत्र में कार्य करना बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। एक दूजे से मिल कर चलें और एक दूजे का साथ दें। यहि अभियान लोगों से जोड़ता है। शिव स्वामी को यह भी गौरवपूर्ण कार्य करने का मौका मिला। 1985 में जनहित सहकारी उपभोक्ता भंडार लिमिटेड के अध्यक्ष निर्वाचित हुए और लगातार अभी तक इस पद पर निर्वाचित होते रहे हैं। स्वामी ने 23 फरवरी 1989 से 13 सितंबर 1990 तक जिला स्तरीय श्रीगंगानगर सहकारी उपभोक्ता होलसेल भंडार लिमिटेड के संचालक मंडल के सदस्य के रूप में कार्य किया। फरवरी 2005 से दिसंबर 2000 तक 2007 तक सहकारिता प्रकोष्ठ के प्रदेश उपाध्यक्ष के रूप में कार्य किया 3 नवंबर 1990 को जिला स्तरीय श्रीगंगानगर सहकारी उपभोक्ता होलसेल भंडार लिमिटेड के चेयरमैन के रूप में निर्वाचित हुए और 23 जुलाई 94 तक इस पद पर कार्य किया। स्वामी 10-7- 1992 को राज्य स्तरीय राजस्थान राज्य सहकारी उपभोक्ता संघ लिमिटेड के उपाध्यक्ष के रूप में निर्वाचित हुए तथा 9 जुलाई 95 तक इस पद पर कार्य किया। 3 मार्च 1994 को श्री गंगानगर अर्बन को ऑपरेटिव बैंक के डायरेक्टर निर्वाचित तथा 28-7-1997 तक इस पद पर कार्य किया। सहकारिता क्षेत्र में भी वर्षों तक लोगों का कार्य करने का एक बहुत बड़ा अनुभव शिव स्वामी के पास है। शिव स्वामी वर्तमान में राजस्थान प्रदेश भाजपा में सहकारिता प्रकोष्ठ के सह संयोजक हैं।
विभिन्न प्रकार के क्षेत्रों में कार्य करने वाले शिव स्वामी सामाजिक संस्था हिमालय परिवार के प्रदेश अध्यक्ष के रूप में 24 अप्रैल 2022 से कार्यरत है इससे पहले वे जिला अध्यक्ष के रूप में प्रदेश महामंत्री के रूप में कार्य कर चुके हैं। प्रांतीय वैष्णव ब्राह्मण समाज राजस्थान के प्रदेश उपाध्यक्ष पद पर भी 2006 से 2009 तक कार्य किया हुआ है। श्रीगंगानगर जिले की अनेक सामाजिक एवं धार्मिक संस्थाओं से जुड़ाव है। वर्ष 2006 से मूल पिछड़ा वर्ग उत्थान महासंघ के संयोजक के रूप में कार्य करते हुए वास्तविक रूप से पिछड़ी जातियों को जिले में एकजुट कर उनके उत्थान के लिए भी प्रयासरत हैं। 30 नवंबर 2016 से 30 नवंबर 2018 तक राज्य सरकार द्वारा गठित जिला स्तरीय पुलिस जवाबदेही समिति के सदस्य के रूप में भी काम किया हुआ है।
* राजनीति और समाचार जगत के मेल का अनूठा अनुभव भी स्वामी के पास है। मीडिया से संपर्क बहुत जरूरी है लेकिन यहां तो खुद शिव स्वामी ही पिछले 40 वर्षों से पत्रकारिता क्षेत्र में महत्वपूर्ण ईमानदार पत्रकार के रूप में विख्यात हैं। श्री गंगानगर से प्रकाशित दैनिक समाचार पत्र लोकसम्मत के संपादक प्रकाशक हैं। इसके अलावा श्रीगंगानगर में 22 वर्षों से प्रकाशित हो रही कृषि एवं ग्रामीण परिवेश की मासिक पत्रिका राजस्थान खेती का भी संपादन एवं प्रकाशन कर रहे हैं।
शिव स्वामी अच्छे पढ़े-लिखे राजनीतिक सामाजिक और शैक्षणिक कार्यक्रमों में लोकप्रिय नेता हैं। शिव स्वामी का जन्म 21 नवंबर 1957 को स्व.खूबराम स्वामी के यहां हुआ।
शिक्षा में स्वामी एमकॉम आर्थिक प्रशासन एवं वित्तीय प्रबंधन में किया हुआ है।राजस्थान विश्वविद्यालय से एलएलबी की हुई है। वर्धमान महावीर खुला विश्वविद्यालय कोटा से बीजेएमसी की डिग्री प्राप्त की हुई है।
श्रीगंगानगर जिले की महत्वपूर्ण सीट श्रीगंगानगर सीट पर शिव स्वामी इस समय सन् 2023 के लिए सबसे अधिक पावरफुल नया चेहरा है। अब श्री गंगानगर की राजनीति में शिव स्वामी के नाम को शामिल करते हुए ही राजनीति की जा सकेगी।
** श्रीगंगानगर सीट की राजनीति में यह तो प्रमाणित है कि यहां किसी एक जाति विशेष का डंका कभी नहीं बजा। कहते हैं कि राजनीति की बात आती है तो गंगानगर जिले को अरोड़ा समुदाय का मान कर के ही इच्छा प्रकट की जाती है लेकिन अरोड़ा के रूप में केवल राधेश्याम ही 4 बार चुने गए हैं। 15 चुनाव में केवल 4 बार अरोड़ा समुदाय आया है। एक बात ध्यान देने योग्य है कि यहां पर जनता जिले की राजनीति राजस्थान की राजनीति देश की राजनीति को समझते हुए वोटिंग करती है। भारतीय जनता पार्टी पिछले दस सालों को समझते हुए इस बार 2023 के चुनाव के लिए जीत के लिए टिकट देगी। शिव स्वामी का चेहरा हर नजरिए से जीत का भरोसा दिलाने वाला है वहीं जनता अपने काम के लिए इस चेहरे में भरोसा देख कर जुटेगी।०0०
28 अक्टूबर 2022.
करणीदानसिंह राजपूत,
58 वर्षों से पत्रकारिता अनुभव.
(राजस्थान सरकार के सूचना एवं जनसंपर्क निदेशालय से अधिस्वीकृत)
सूरतगढ़.
94143 81356.
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गुरुवार, 27 अक्तूबर 2022
सूरतगढ़:अध्यक्ष, उपाध्यक्ष के बाद पार्षद रोहिताश धानक पर मुकदमा.बड़ी रिपोर्ट.
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 27 अक्टूबर 2022.
नगर पालिका सूरतगढ़ के कॉन्ग्रेस बाहुल्य बोर्ड में अध्यक्ष ओमप्रकाश कालवा उपाध्यक्ष सलीम कुरेशी पर आपराधिक मामले दर्ज होने के बाद अब पार्षद रोहिताश पर भी कूट रचित दस्तावेज के आधार पर पार्षद का चुनाव लड़ने के आरोप में सूरतगढ़ सिटी थाने में प्रकरण दर्ज हुआ है।
यह प्रकरण अदालत के आदेश के बाद 21 अक्टूबर 2022 को दर्ज हुआ लेकिन इसका विस्फोट रामरमी दिवस के दिन 26 अक्टूबर को हुआ जब जनता को यह मालूम पड़ा।
रोहिताश पर गंभीर आरोप हैं। सूरतगढ़ नगरपालिका बोर्ड के 2019 में हुए चुनाव में वार्ड नंबर 45 अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षित था। रोहिताश पर आरोप है कि उसने अनुसूचित जनजाति का प्रमाण पत्र फर्जी दस्तावेजों के आधार पर तैयार करवाया और इसके आधार पर चुनाव लड़ा।
यह प्रमाण पत्र तहसीलदार सादुल शहर के डिजिटल हस्ताक्षर से 31 जुलाई 2014 को जारी होना प्रमाणित है।
इस जाति प्रमाण पत्र जो डिजिटल है उस पर यह नियम लिखा हुआ है कि कियोस्क द्वारा प्रस्तुत दस्तावेजों के आधार पर यह प्रमाण पत्र जारी किया गया है। संबंधित दस्तावेज जारी करने वाले अधिकारी के कार्यालय में निरीक्षण और परीक्षण के लिए मौजूद रहेंगे, लेकिन मुकदमा करने वाले कमलेश मीणा का आरोप है कि वहां पर दस्तावेज उपलब्ध नहीं है।
प्रमाण पत्र पर यह भी लिखा गया वह की ईमित्रा गवर्नमेंट इन पर ऑनलाइन वेरिफिकेशन सेक्शन में इसका सत्यापन किया जा सकता है। यह भी लिखा हुआ है कि किसी प्रकार का कोई विवाद होने पर प्रमाण पत्र खारिज किया जा सकेगा।
रोहिताश पुत्र नेकी राम निवासी वार्ड नंबर 9 पुराना और नया वार्ड नंबर 45 पर आरोप है कि वह अनुसूचित जाति धानक का है और उसने चुनाव लड़ने के लिए यह फर्जी दस्तावेज तैयार करवाया। यह भी आरोप है कि रोहिताश ने यह सब जानते बुझते हुए किया। षड्यंत्र रच कर किया और कूटरचित प्रमाण पत्र से चुनाव लड़ा। रोहिताश पर इसलिए भारतीय दंड संहिता की धारा 420 467 468 120 बी में यह मुकदमा दर्ज हुआ है।
रोहिताश ने अनुसूचित जाति का होने का प्रमाण दे कर के सेठ रामदयाल राठी राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में पढ़ते हुए 2 वर्ष तक सन् -93-94 और 94-95 में छात्रवृत्ति भी प्राप्त की थी। उक्त छात्रवृत्ति बिना प्रमाण पत्र के नहीं दी जाती।स्पष्ट है कि सेठ रामदयाल राठी राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में रोहिताश ने अनुसूचित जाति का प्रमाण पत्र पेश किया था।
पुलिस ने मुकदमा दर्ज करने के बाद में शिकायत कर्ता कमलेश मीणा निवासी वार्ड नंबर 2 के बयान भी 26 अक्टूबर को दर्ज कर लिए हैं।
अब आगे की जांच के अंदर यह खुलासा होगा। पुलिस नियमानुसार जांच को आगे बढ़ाने पर सादुलशहर तहसीलदार के कार्यालय से दस्तावेज प्राप्त करेगी वहां पर दस्तावेज उपलब्ध नहीं होने पर रोहिताश पर गिरफ्तारी का संकट रहेगा। रोहिताश से पूछताछ की जाएगी कि इसने यह दस्तावेज कहां से बनवाया था। यह बात रोहिताश ही बता सकता है। हो सकता है कि यह e-mitra सूरतगढ़ का हो। यह आगे सब कुछ अनुसंधान का विषय है। फर्जी दस्तावेज बनाने में अभी तो रोहिताश का ही नाम है लेकिन अनुसंधान में हो सकता है कूट रचना करने में सहयोगी रहे अन्य लोग भी मुकदमे में पकड़े जा सकते हैं।
* यहां विशेष रूप से उल्लेखनीय है कि नगर पालिका में किसी न किसी पार्षद पर नित्य नए आरोप लगते रहते हैं। जनता का काम नहीं हो रहा लेकिन भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगते रहे हैं।
* नगर पालिका अध्यक्ष ओमप्रकाश कालवा पर आरोप है कि उन्होंने सीवरेज का एक करोड़ 48 लाख रुपए का भुगतान फर्जी तरीके से कर दिया और सरकारी कोष को हानि पहुंचाई। ओमप्रकाश कालवा पर सिटी थाने में मुकदमा दर्ज हुआ।
** इसके बाद में उपाध्यक्ष सलीम कुरेशी एक प्लॉट के बिकवाने के चक्कर में फंस गए। उन पर आरोप है कि उन्होंने ₹6 लाख खुद ने लिए और ₹7 लाख अन्य व्यक्ति को दिलाए। जो प्लॉट बेचा गया था वह नगरपालिका की संपत्ति था। नगरपालिका ने अवैध निर्माण मानते हुए 17 अक्टूबर 2022 को तोड़ भी दिया।
*** पार्षद रोहिताश तीसरा व्यक्ति है जिस पर मुकदमा हुआ है नगर पालिका में उठापटक आरोप-प्रत्यारोप के चलते हुए यह मुकदमे हुए हैं आशंका है कि पालिकाध्यक्ष के आसपास रहने वाले अन्य पार्षदों पर भी गलती होते ही मुकदमा दर्ज की कार्यवाही होगी सभी पर निगाहें है रखी जा रही है ऐसा राजनीति में माना जा रहा है। ०0०
सोमवार, 24 अक्तूबर 2022
लोकतंत्र सेनानी शहीद गुरुशरण छाबड़ा की प्रतिमा पर दीप जलाए और जयघोष किया
* करणी दान सिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 24 अक्टूबर 2022 .
लोकतंत्र सेनानी शहीद गुरुशरण छाबड़ा की प्रतिमा स्थल पर दीपावली की संध्या को करीब 6:30 बजे आपातकाल जेलबंदी लोकतंत्र सेनानी करणी दान सिंह राजपूत, एवं छाबड़ा जी के साथियों बलदेव राज तनेजा और रेवंत राम सोनगरा ने दीप जलाए।
छाबड़ा जी की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया और उनका जयघोष किया। गुरुशरण छाबड़ा के नेतृत्व में आपातकाल विरोध की पहली आम सभा पहले ही दिन 26 जून 1975 को सूरतगढ़ में हुई थी। गुरुशरण छाबड़ा ने आपातकाल का विरोध करते हुए प्रदर्शन करते हुए गिरफ्तारी दी थी। ने सामाजिक गतिविधियों में अनेक कार्य और संघर्ष किए। राजस्थान में शराबबंदी आंदोलन को लेकर उन्होंने आमरण अनशन करते हुए अपने प्राण त्याग दिए थे। राजस्थान सरकार ने सूरतगढ़ का राजकीय महाविद्यालय और एक उ.मा.विद्यालय उनके नाम से कर दिया।०0०
शुक्रवार, 21 अक्तूबर 2022
गुरुवार, 20 अक्तूबर 2022
पालिका उपाध्यक्ष सलीम कुरैशी पर पुलिस में केस:गिरफ्तारी बाद पद जा सकता है.
* करणीदानसिंह राजपूत *
सूरतगढ़ 20 अक्टूबर 202.
नगरपालिका के उपाध्यक्ष सलीम कुरेशी पर आरोप है कि उसने अपने 2 व्यक्तियों के साथ मिल कर भ्रमित करके नगरपालिका का एक प्लॉट आशीष सोनी को 13 लाख रुपए में बेचा।आशीष सोनी से आधे प्लिट के 6 लाख रू नगद सलीम कुरैशी ने लिए और लिखा पढी महबूब के नाम से हुई। आधे प्लाट के 7 लाख रू. संदीप कालड़ा को दिलवाए। सिटी पुलिस थाना में सलीम कुरैशी, महबूब और संदीप कालड़ा तीनों के विरुद्ध मुकदमा दर्ज हुआ है। सलीम कुरैशी पर गिरफ्तारी की तलवार लटक गई है और उपाध्यक्ष व पार्षद पद भी सस्पेंड होने का संकट आ गया है।
* इस भूखंड को नगर पालिका ने 17 अक्टूबर को ध्वस्त कर दिया और बताया कि यह भूखंड आईडीएसएमटी योजना के तहत रिजर्व है।
आशीष सोनी पुत्र मनोज कुमार सोनी वार्ड नंबर 42 ने पुलिस को लिखित एप्लीकेशन दी जिस पर यह मुकदमा दर्ज हुआ।
आशीष सोनी ने नगर पालिका उपाध्यक्ष कुरैशी पर आरोप लगाया है कि उसने मित्रता जताते हुए एक प्लॉट सस्ते में देने का बताया और एक प्लॉट दिखाया जो 48 * 50 का बताया।उसने बताया कि 24 गुना 50 आधे पर संदीप अरोड़ा का है।आधा खाली है जो उसने ₹6 लाख में आशीष सोनी को बेचा। सलीम ने यह राशि नगद ले ली।
लिखित के लिए तहसील में गए तब सलीम अपने साथ महबूब पुत्र हकीम का वार्ड नंबर 27 को लेकर के आया और लिखा पढ़ी महबूब के नाम से करवाई। आशीष के पिताजी मनोज कुमार ने कहा कि प्लॉट आपका है तो आप अपने नाम से इसकी लिखित पढ़त कराओ तो सलीम कुरैशी ने कहा कि वह उपाध्यक्ष है इसलिए सारे काम महबूब के नाम से ही करवाता है। आप निश्चिंत रहें नगरपालिका से सीधा पट्टा बनवा दूंगा।
उसके बाद आशीष को कहा कि जो आधा प्लाट संदीप के पास है वह भी सस्ते में दिला देता हूं। संदीप पुत्र रणवीर निवासी वार्ड नंबर 43 को प्लॉट के 7 लाख रुपए दिलवा दिए।
आशीष सोनी ने संपूर्ण प्लाट 48 गुना 50 पर निर्माण करवाया जिस पर 20 लाख रुपए खर्च हो गए।
* 17 अक्टूबर 2022 को नगर पालिका ने उस प्लॉट का निर्माण अतिक्रमण कहते हुए तोड़ दिया। नगर पालिका प्रशासन ने बताया कि उक्त प्लाट आईडीएसएमटी योजना के तहत रिजर्व है और नगरपालिका का है।
आशीष सोनी को धक्का लगा कि उससे 13 लाख रुपए उपाध्यक्ष सलीम कुरैशी ने महबूब और संदीप के साथ मिलकर बेईमानी से हड़प लिए। आशीष सोनी की इस शिकायत पर पुलिस ने धारा 420 406 के तहत 20 अक्टूबर को मुकदमा दर्ज किया।
* सलीम कुरेशी नगरपालिका के प्लॉट कब्जा करवाने के लगते रहे हैं।
राजीव चौहान पालिका पार्षद ने सार्वजनिक रूप से सलीम कुरैशी पर आरोप लगाया था कि वह
नगरपालिका की जमीनों पर कब्जे करवा रहा है और बाहर के लोगों को बसा रहा है। ये बाहरी लोग कौन हैं और कहां बसाए हैं की जांच किसी भी एजेंसी ने नहीं की जबकि यह गंभीर आरोप अभी कायम है। नगरपालिका को भी इसकी जांच करानी चाहिए और अब तो बहुत जरूरी हो गई है। उस क्षेत्र के पट्टे जारी करने से पहले हर कब्जे धारी की गहन जांच होनी जरूरी हो गई है।
पट्टे गलत जारी हुए तो में पालिका अध्यक्ष और ईओ भी चपेट में आ सकते हैं।
आरोप से पहले सलीम कुरैशी और राजीव चौहान की नगर पालिका में झड़प हुई और राजीव को बुरी तरह से पीट दिया गया था। यह सारी बातें विशेष चर्चा का मुद्दा बनी रही। राजीव चौहान पर झूठा मुकदमा भी करवाया गया।
* नगरपालिका में अध्यक्ष रहे इकबाल कुरैशी का सलीम कुरैशी भतीजा लगता है।०0०
बुधवार, 19 अक्तूबर 2022
मेरा 78 वें वर्ष में एवं पत्रकारिता का 58 वें वर्ष में प्रवेश:करणीदानसिंह राजपूत.
पत्रकारिता एवं लेखन के वर्षों के संघर्ष और आनन्ददायी अनुभवों व महान लेखकों पत्रकारों की रचनाओं को पढ़ते और उनसे मिलते हुए मेरे जीवन के 77 वर्ष पूर्ण हुए एवं 19 अक्टूबर 2022 को 78 वें वर्ष में प्रवेश की सुखद अनुभूति।
* आपातकाल 26 जून 1975 से 21 मार्च 1977 ईसवी.*
* पुरस्कार - अलंकरण *
* इंदिरागांधी नहर पर 12 श्रंखलाएं लिखी जो सन् 1991 में छपी तथा दूसरी बार 1992 में पुन: राज्य स्तरीय प्रथम पुरस्कार प्राप्त हुआ।
* राजस्थान की शिक्षा प्रणाली पर व्यापक अध्ययन कर दो श्रंखलाओं में सन् 1993 में प्रकाशित लेख पर तीसरी बार राज्य स्तरीय प्रथम पुरस्कार 1994 में प्राप्त हुआ।
* इसके बाद सन 1996 में राजस्थान की चिकित्सा एवं स्वास्थ्य पद्धति पर व्यापक अध्ययन कर 4 श्रंखलाएं लिखी। इस पर सन् 1997 में राज्य स्तरीय दूसरा पुरस्कार मिला।
* वर्ष 1997 में विश्व प्रसिद्ध शिक्षा संस्थान ग्रामोत्थान विद्यापीठ संगरिया के बहादुरसिंह ट्रस्ट की ओर से पत्रकारिता में सम्मान व पुरस्कार प्रदान किया गया।
* बीकानेर संभाग का "राजस्थान गौरव पत्रकारिता सम्मान 2019" बीकानेर के रवीन्द्र मंच पर 4 अगस्त 2019 को प्रो.ललित किशोर चतुर्वेदी स्मृति संस्थान जयपुर की ओर से प्रदान किया गया।
मेरे परिवार जन,मित्रगण और कानून ज्ञाता जो साथ रहे हैं वे भी इस यात्रा में सहयोगी हैं।
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