गुरुवार, 31 अगस्त 2023

गंभीर आरोपों में घिरे पूर्व विधायक मील, पालिकाध्यक्ष परसराम,2पूर्व अध्यक्ष.

 

* करणीदानसिंह राजपूत *

सूरतगढ 31 अगस्त 2023.

पूर्व विधायक गंगाजल मील पर पूर्व पालिकाध्यक्ष ओमप्रकाश कालवा ने आज पत्रकार वार्ता में बहुत गंभीर आरोप लगाते हुए कटघरे में खड़ा किया वहींं वर्तमान पालिकाध्यक्ष परसराम भाटिया, उनकी पत्नी पूर्व पालिकाध्यक्ष कृष्णा भाटिया और पूर्व पालिकाध्यक्ष बनवारीलाल मेघवाल पर भी आरोप लगाए।

* ओमप्रकाश कालवा ने कहा कि मील परिवार बड़ा है और उनके हेतराम मील ने मेरे को कहा कि गंद मत खाया करो। यह मत करो,वह मत करो। वे आरोप लगा सकते हैं बड़े लोग हैं। * 

लेकिन गंगाजल मील के आवास पर नगरपालिका के तीन कर्मचारी काम करते हैं। उनका वेतन नगरपालिका देती है। बड़े करोड़पति अरबपति धोलपोसिए बताएं कि यह सब क्या है? भ्रष्टाचार है या क्या है? गंगाजल मील पर ऐसा गंभीर आरोप पहली बार लगा है। * कालवा ने गंगाजल मील को पिता तुल्य आदरणीय भी बताया और कटघरे में भी खड़ा किया।


( आरोप के हिसाब से तीन कर्मचारी मतलब औसत 60 हजार रूपये हर माह और साल में 7 लाख 20 हजार रू बनते हैं। नगरपालिका में काम भी प्रभावित होता है) 

* कालवा ने कहा कि पिता तुल्य मील सा. ने कहा कि कालवा जैसा भ्रष्टाचारी पहली बार देखा   और जेल में जाएगा। कालवा ने कहा कि मील साहब के साथ हैं वे जेलों में कैसे गये और कैसे लोग हैं। 

* कालवा बहुत उत्तेजित आक्रोश भरे थे जब मील पर आरोप लगाए। वही उत्तेजना आगे लगातार रही।

* कालवा ने कहा कार्यकारी अध्यक्ष परसराम भाटिया जेल गये थे। वे किस आंदोलन में गये थे या भ्रष्टाचार में गये थे?

* कालवा ने आगे कहा इन श्रीमान भाटिया जी की पत्नी जो पालिकाध्यक्ष रही थी। वह भी जेल गयी। वह किसी महिला आंदोलन में जेल जाकर आई या किसी और कारण से।

* ( परसराम भाटिया और श्रीमती कृष्णा भाटिया दोनों पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे और उन्हीं आरोपों में गिरफ्तारी के दौरान जेल हवालात जाकर आए थे)

* कालवा ने कहा पूर्व पालिकाध्यक्ष बनवारीलाल मेघवाल जिसे मील सा.नजदीक बैठाते हैं। वह किस मामले में हाईकोर्ट गया और फिर सुप्रीम कोर्ट गया रिट लगाई जो खारिज हो गयी? 

* (बनवारीलाल मेघवाल व 2 अन्य पर एक अनुसूचित जाति की स्त्री सै रेप करने का गंभीर आरोप है। सूरतगढ अदालत में यह केस विचाराधीन है। बनवारी इसे रुकवाने के लिए हाईकोर्ट सुप्रीम कोर्ट गया। सनः 2006 का आरोप 2010 में केस दर्ज हुआ था।)


 👍 ओमप्रकाश कालवा कांग्रेस में रहते हुए पालिकाध्यक्ष थे तब मील के अत्यंत खासमखास ,नाक के बाल समझे जाते थे। मील से विरोधाभास होने पर भाजपा में चले गये और विधायक रामप्रताप कासनिया के खास हो गये। कालवा सीवरेज घोटाले में सस्पेंड हैं और मील,भाटिया व बनवारी कालवा के विरुद्ध हैं।


* कालवा ने कहा कि मील सा.ने कहा कि कालवा ने उनकी आंखों पर पट्टी बांध दी थी। 

👍कालवा ने कहा कि मैं गरीब मजदूरी करने वाले मेघवाल परिवार में पैदा हुआ और ये करोड़पति बड़े लोग। मैं इनकी आंखों पर पट्टी कैसे बांध देता? साढे तीन साल पट्टी बंधी रही। कालवा ने अब सवाल किया कि अब परसराम है पट्टी खुल गयी है या ज्यादा कस दी है?

* कालवा ने मील और परसराम बनवारी के पत्रकार वार्ता मे लगाए निर्माण कार्यों में भाजपा कांग्रेस के पार्षदों के वार्डो में भेदभाव के आरोप दस्तावेजों से लगाए। परसराम ने आरोपों का खंडन किया था लेकिन आज कालवा ने रिकार्ड दिया और मील परसराम को झूठा बता दिया।अनेक प्रमाण भी दिए। इनकी रिपोर्ट अलग से देंगे।वार्ता में कासनिया भी बोले थे जो अलग से ही  लगा पाएंगे। 



👍 दोनों तरफ से पत्रकार वार्ता होती है और मीडिया के सामने आरोप लगाते हैं। लिखित शिकायतें मुकदमें नहीं करते। मीडिया के माध्यम से लड़ी जा रही यह लड़ाई आगे कहां पहुंचेगी कि अभी कल्पना नहीं की जा सकती। विधानसभा चुनाव के इन तीन महीनों में न जाने अभी क्या क्या होगा।०0०

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