राजस्थान में वसुंधरा राजे का भाजपा राज डगमग:163विधायकों में से 100की हालत खराब
खुफिया एजेंसियों से कराए गए अनौपचारिक सर्वे की रिपोर्ट में 163 विधायकों में से 100 की हालत बेहद खराब होने से राजस्थान में भाजपा वसुंधरा राज डोलने वाला है।
इस खुफिया रिपोर्ट ने भाजपा की चिंता बढ़ा दी है।
राज्य में 15 महीने बाद अगले साल 2018 में विधानसभा चुनाव को ले पुलिस के खुफिया विभाग और जिलों में पुलिस से कराए गए अनौपचारिक सर्वे में सामने आया है कि भाजपा के वर्तमान 163 विधायकों में से करीब 100 विधायक ऐसे है,जिनकी अपने विधानसभा क्षेत्र में पकड़ काफी कमजोर हो गई है। इन 100 विधायकों से मतदाता नाराज है । इन विधायकों में 8 मंत्री और 3 संसदीय सचिव भी शामिल हैं। रिपोर्ट में सामने आया कि 18 विधायक तो ऐसे है जो पिछले छह से आठ माह के दौरान अपने विधानसभा क्षेत्र में नहीं गए। राजधानी जयपुर के ही तीन विधायकों की आम मतदाताओं में पकड़ कमजोर बताई गई है इनमें एक केबिनेट मंत्री शामिल है। मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की राजनीतिक कर्मस्थली एवं उनके बेटे दुष्यंत सिंह के संसदीय क्षेत्र झालावाड़-बांरा में भाजपा की कमजोर होती पकड़ की बात भी इस रिपोर्ट में कही गई है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि इस क्षेत्र के लोग वसुंधरा राजे से तो खुश हैं,लेकिन विधायकों के कामकाज के तरीकों, पार्टी कार्यकर्ताओं से दूरी और क्षेत्र के दौरे नहीं करने से हालात ठीक नहीं है।
इसी तरह 2013 के विधानसभा चुनाव के भाजपा को बढ़त दिलवाने वाले जाट बाहुल्य सीकर, झुंझ़ंनूं और नागौर जिलों में लगभग सभी वर्तमान विधायकों की हालत काफी कमजोर बताई गई है।
गृह विभाग एवं राज्य पुलिस के दो वरिष्ठ अधिकारियों ने बताया कि अगस्त माह में भाजपा के वर्तमान 163 विधायकों को लेकर मुख्यमंत्री के निर्देश पर फीडबैक तैयार किया गया है।
राज्य इंटेलिजेंस के अधिकारियों के साथ ही जिलों में तैनात पुलिस अफसरों ने प्रत्येक विधनसभा क्षेत्र का ब्यौरा लिया और फिर रिपोर्ट तैयार की। इन अधिकारियों का कहना है कि आम लोगों से बातचीत में सामने आया कि वसुंधरा राजे का करिश्मा अभी भी आम मतदाता में कायम है,सरकार की योजनाओं को भी ठीक बताया गया है । लेकिन मंत्रियों और विधायकों के कामकाज के तरीकों से लोग खुश नहीं है। भाजपा कार्यकर्ता ही विधायकों की कार्यशैली से नाराज है।
विधायकों के बारे में फीडबैक मिलने के बाद मुख्यमंत्री एवं पार्टी नेतृत्व ने 80 से 100 विधानसभा क्षेत्रों में संभावित नए चेहरों की तलाश शुरू कर दी है। इस काम में पार्टी की ओर से सभी 200 विधानसभा क्षेत्रों में भेजे गए विस्तारकों की सलाह के साथ ही खुफिया एजेंसियों से भी फीडबैक लिया जाएगा ।भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष अशोक परनामी खुलकर तो विधायकों के बारे में अच्छा फीडबैक मिलने की बात नहीं स्वीकारते,लेकिन यह अवश्य कहते है कि जो विधायक जनता एवं कार्यकर्ता के बीच नहीं रहेगा उसे टिकट नहीं मिलेगा । वे कहते हैं प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के नाम पर चुनाव लड़ा जाएगा ।उल्लेखनीय है कि राज्य विधानसभा की 200 सीटों में ये 163 सीटें भाजपा के पास है । कांग्रेस के मात्र 24 विधायक है,शेष अन्य हैं ।
वसुंधरा खुद तो अपनी पगड़ी पहन लेगी मगर ऐसी बुरी हालत में भाजपा का राज आना मुश्किल है।