करणी प्रेस इंडिया
शनिवार, 25 जनवरी 2020
पगथली में रेत कण न चुभे* कविता- करणीदानसिंह राजपूत
माई डीयर मोंटी,
सारी पेड़ियां
साफ ।
मेरी मोंटी को
चढना और उतरना।
कहीं थोड़ी सी
धूल भी न लगे
पगथली में
कोई रेत कण भी
न चुभे।
पगथली तो
नाजुक है।
चूमने वाली है।
आपका दिन
हंसते मुस्कुराते
बीते।
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