शनिवार, 8 नवंबर 2025

सरदार पटेल 150 युनिटी मार्च.भाजपा नेता कौन शामिल हुए.

 








* करणीदानसिंह राजपूत *

* शनिवार 8 नवंबर 2025.विशेष रिपोर्ट.


सरदार@150 यूनिटी मार्च कार्यक्रम की आज 8 नवंबर 2025 को नर्सिंहंपुरा गाँव के शिव मंदिर में शुरुआत हुई।

 कार्यक्रम में मुख्य अतिथि सुमित गोदारा, (खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री राजस्थान सरकार),जिलाध्यक्ष शरणपाल सिंह मान,पूर्व मंत्री सुरेन्द्र पाल सिंह टीटी,पूर्व विधायक बलवीर लूथरा, जिला महामंत्री प्रदीप धेरड़ व श्रीभगवान सेवटा (जिला संयोजक यूनिटी मार्च) भुपेंद्र सिंह शेखावत, गंगानगर जिला प्रसाशन व करणपुर, सूरतगढ व रायसिहनगर विधानसभा के मंडलों के मंडल अध्यक्ष व कार्यकर्ता सम्मिलित हुए।






 कार्यक्रम में ग्रामीण बच्चे, युवा, महिलाएँ व गणमान्य नागरिक सम्मिलित हुए कार्यक्रम बहुत ही भव्य रहा। छात्राओं ने संगीत की प्रस्तुति दी।

 मुख्य अतिथि गोदारा जी ने सरदार पटेल के जीवन पर उद्बोधन दिया व एक भारत श्रेष्ठ भारत, एक भारत आत्मनिर्भर भारत को प्रदर्शित करते हुए मुख्य वक्ता ने सरदार वल्लभ भाई पटेल के जीवन पर प्रकाश डाला। उन्होंने बताया कि पटेल  भारत के एक स्वतंत्रता सेनानी, अधिवक्ता तथा राजनेता थे। उन्होंने भारत के पहले उपप्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया। वे एक संघर्षशील राजनेता थे जिन्होंने भारत के स्वतंत्रता संग्राम में अग्रणीय भूमिका निभाई। स्वतंत्र भारत में देशी रियासतों के एकीकरण की महान चुनौती को उन्होंने सफलतापूर्वक हल किया। सन 1947 के भारत पाकिस्तान युद्ध के दौरान गृह मंत्री के रूप में कार्य किया। पटेल का जन्म 31 अक्तूबर1875  को नाडियाड, गुजरात में एक लेवा पटेल जाति में हुआ। वे झवेरभाई पटेल एवं लाडवा देवी की चौथी संतान थे सोमभाई,  नरसीभाई और विट्ठलभाई उनके अग्रज थे। उनकी शिक्षा मुख्यतः स्वाध्याय से हुई और  लंदन जाकर उन्होंने बैरिस्टर की पढ़ाई की तथा वापस आने के बाद अहमदाबाद में वकालत करने लगे थे। महात्मा गांधी के विचारों से प्रभावित होकर स्वतंत्रता आंदोलन में भाग लिया। उनका पहला और बड़ा योगदान 1918 में खेड़ा संघर्ष से हुआ। किसानों पर अंग्रेज़ सरकार द्वारा लगाए गए भारी कर्ज़ पर छूट दिलाकर इस आंदोलन में सफलता हासिल की थी। किसानों के हित में ही दूसरा संघर्ष बारडोली सत्याग्रह 1928 गुजरात में हुआ।वह एक प्रमुख किसान आंदोलन था, जिसका नेतृत्व वल्लभभाई भाई पटेल ने किया और अंग्रेजों को हुकुमत को विवश होकर लगान हटाना पड़ा था। 

👍 यूनिटी मार्च सरदार पटेल की 150 वीं जयंती के अवसर पर आयोजित एक राष्ट्रव्यापी जन अभियान है। सरदार पटेल के दृढ़ नेतृत्व कूटनीतिक कौशल और राष्ट्रीय एकता के प्रति अटूट प्रतिबद्धता आज भी पीढ़ियों को प्रेरित करती है। यूनिटी मार्च यात्रा उनकी अमर विरासत को समर्पित है। यह यात्रा सरदार पटेल के एकीकृत भारत के दृष्टिकोण को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के विकसित भारत और आत्म निर्भर भारत के मिशन से जोड़ते हुए जनभागीदारी से एक सच्चा राष्ट्रीय अभियान है।

 युवा कार्यक्रम और खेल मंत्रालय भारत सरकार की तरफ़ से ये कार्यक्रम आयोजित है और पूरे देश में किए जा रहे हैं।

 इसके बाद नरसिंहपुरा से यूनिटी यात्रा को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया गया। यह यात्रा लगभग सात किलोमीटर  की रही।संपूर्ण कार्यक्रम लगभग 4 घंटे का रहा जो

34 एल.एन.पी में सम्पन्न हुआ।०0०







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