मंगलवार, 18 जून 2019

पत्रिका समूह के निदेशक मिलाप कोठारी का निधन: 'कड़वा मीठा सच्च:व 'मंथन:के लिए याद रहेंगे




-- करणीदानसिंह राजपूत --
पत्रिका समूह के निदेशक मिलापचंद कोठारी का  18 जून 2019 को सुबह निधन हो गया। राजस्थान पत्रिका में लोकप्रिय 'कड़वा मीठा सच्च' स्तंभ शुरू करने और 'मंथन' स्तंभ लिखने के लिए वे सदैव याद रहेंगे।
मिलाप कोठारी 69 वर्ष के थे। वे पिछले कुछ समय से अस्वस्थ चल रहे थे। उन्होंने जयपुर में अंतिम सांस ली।
15 दिसम्बर, 1950 को जन्मे मिलाप कोठारी राजस्थान पत्रिका के संपादक और निदेशक भी रहे हैं। वे पत्रिका समूह के संस्थापक स्व. कर्पूरचंद कुलिश के छोटे पुत्र और प्रधान संपादक गुलाबचंद कोठारी के छोटे भाई थे।
शवयात्रा उनके निवास "स्वस्ति, 11, हॉस्पिटल मार्ग, सी स्कीम" से आज शाम को 5:15 बजे आदर्शनगर मोक्षधाम जाएगी।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ट्वीट करते हुए श्री मिलाप कोठारी के निधन पर दुःख जताया है। ट्वीट में उन्होंने लिखा, 'पत्रिका ग्रुप के निदेशक श्री मिलाप कोठारी जी के निधन पर मेरी गहरी संवेदना। दुःख की इस घड़ी में मेरे विचार और प्रार्थनाएँ उनके परिवार के सदस्यों के साथ हैं। ईश्वर उनके परिवार को इस दुःख की घडी करने की शक्ति प्रदान करे। दिवंगत आत्मा को शांति मिले।' 
जीवन परिचय 
मिलाप कोठारी 'सुमंत' का जन्म 15 दिसंबर 1950 को जयपुर में हुआ। उन्होंने यांत्रिक अभियांत्रिकी में स्नातक की उपाधि ग्रहण की लेकिन कार्यक्षेत्र पत्रकारिता को ही चुना।
वे 1977 से राजस्थान पत्रिका तथा इसके सहयोगी प्रकाशनों से संबद्ध रहे।
कोठारी ने पत्रिका के जोधपुर संस्करण के प्रबंध संपादक एवं स्थानीय संपादक सहित अन्य पदों का निर्वहन किया। इसके बाद 1988 में अंग्रेजी आर्थिक दैनिक और जुलाई 1990 में हिंदी दैनिक राजस्थान पत्रिका के संपादक का दायित्व संभाला
उन्होंने राजस्थान पत्रिका के परामर्शी एवं पत्रिका के निदेशक मंडल के सदस्य का दायित्व भी सम्भाला। राजस्थान पत्रिका में उनका देश-विदेश की समसामयिक घटनाओं पर 'मंथन' पाठकों में काफी लोकप्रिय रहा है। कोठारी की 'सुमन' नाम से कुछ कविताएं भी प्रकाशित हो चुकी हैं।
मिलाप कोठारी ने सन 1990 में राजस्थान पत्रिका में कड़वा मीठा सच्च स्तंभ शुरू कराया जो बहुत लोकप्रिय हुआ। सरकार का ध्यान भी उसमें छपी सामग्री पर रहता था जिन पर सरकार निर्णय भी लेती थी। इस स्तंभ में तीन बार राज्य स्तरीय प्रथम और एक बार राज्य स्तरीय द्वितीय पुरस्कार मुझे मिले,जिन पर समारोहों में सम्मानित हुआ। 
मिलाप कोठरी सूरतगढ़ अनेक बार आए। पत्रकारिता पर बहुत चर्चाएं होती।
अन्य स्थानों जयपुर, जोधपुर उदयपुर आदि में भी मिलना और चर्चा करने का अवसर मिला। वे सदा याद रहेंगे। ( राजस्थान पत्रिका से 33 साल तक जुड़ाव रहा है।अभी भी संपर्क है)
- करणीदानसिंह राजपूत,
राजस्थान सरकार के सूचना एवं जनसंपर्क निदेशालय से अधिस्वीकृत स्वतंत्र पत्रकार,
सूरतगढ़।
9414381356.


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